चौकीदार का वेतन कितना है (chowkidar ka vetan kitna hai) आज के इस लेख के माध्यम से हम जानने वाले हैं और साथ ही यह भी जाने वाले हैं कि चौकीदार बनने के लिए क्या करना पड़ता है।
चौकीदार के बारे में बात किया जाए तो चौकीदार का यह काम होता है कि वह अपने मालिक की संपत्ति पर अवैध गतिविधि पर ध्यान रखें।
बहुत जगह एक चौकीदार या सुरक्षा गार्ड को खतरों से निपटने के लिए ट्रेनिंग भी दिया जाता है तथा एक चौकीदार पुलिस को कभी भी कॉल करके इंफॉर्मेशन दे सकता है।
रात में चौकीदार पहरेदार देते हैं उसका मुख्य कारण यह होता है कि वह संपत्ति की रखवाली कर रहा होता है जैसे कई घंटों बाद खाली इमारते हैं घुसपैठियों को देखने के अलावा वह अन्य खतरों का भी तलाश करते हैं।
बहुत सारे लोग चौकीदार या सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करना चाहते हैं या बनना चाहते हैं तो ऐसे लोगों के मन में हमेशा यह सवाल आता है कि चौकीदार का वेतन कितना है (chowkidar ka vetan kitna hai)।
तो चलिए आज के इस लेख के माध्यम से हम यह जानने वाले हैं कि आखिर चौकीदार का वेतन कितना है (chowkidar ka vetan kitna hai) या सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करने वाले की सैलरी कितनी होती है।
तो आप इस लेख को पूरा अंदर तक पढ़े ताकि आपको सब कुछ अच्छे से समझ में आ जाए और आप यह जान पाए कि एक चौकीदार की सैलरी कितनी होती है तथा चौकीदारी से संबंधित सभी प्रकार के सवालों का जवाब भी आप इसलिए के अंतर्गत जान सकेंगे।
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चौकीदार का वेतन कितना है | chowkidar ka vetan kitna hai
एक चौकीदार के वेतन का बात किया जाए तो चौकीदार का वेतन अलग-अलग होता है यह उसके काबिलियत के अनुसार भी उसे वेतन दिया जाता है एक चौकीदार का वेतन अनुपातिक तौर पर देखा जाए तो लगभग ₹15000 से ₹50000 तक दिया जाता है।
वह छोटे-मोटे सिक्योरिटी गार्ड का चौकीदार का वेतन लगभग ₹10000 होता है लेकिन यदि वह एक्सपीरियंस चौकीदार हैं या ऐसे जगह पर अपना ड्यूटी कर रहे हैं जहां पर खतरा हो सकता है तो वैसे चौकीदार का वेतन ₹30000 से ₹50000 तक हो सकती है।
चौकीदार का काम जोखिम भरा होता है क्योंकि एक चौकीदार को ऐसा काम सौंपा जाता है जिसमें जोखिम होता ही है क्योंकि बिना जोखिम का कोई भी कार्य चौकीदार को नहीं दिया जाता।
कुछ कुछ कामों में तो बहुत ज्यादा खतरा होता है वैसे जगहों पर चौकीदार को रिवाल्वर या राइफल बंदूक साथ में रखना होता है ताकि वह सामान का और खुद का सुरक्षा कर सके।
चौकीदार के पास पुलिस स्टेशन का नंबर हमेशा रहता है किसी भी प्रकार की अवैध गतिविधियों का संकेत आते ही चौकीदार तुरंत पुलिस स्टेशन खबर कर देते हैं।
जब तक पुलिस उस तक पहुंचता है तब तक चौकीदार खुद उस क्षण को हैंडल करते हैं और खुद ही वह समय पार करते हैं और घुसपैठियों से अपने सामान और अपना रक्षा स्वयं करते हैं।
बहुत सारे जगहों में सरकारी चौकीदारों की भर्ती की जाती है उन सभी सरकारी चौकीदार की सैलरी अच्छी खासी दी जाती है और लगभग उसकी सैलरी ₹40000 तक होती है।
लेकिन बहुत सारी जगह में प्राइवेट चौकीदार की बहाली होती है वहां पर चौकीदारों की सैलरी ज्यादा नहीं होती है लेकिन लगभग प्रत्येक चौकीदारों की सैलरी ₹15000 से ₹30000 तक होती है जो कि एक अच्छा खासा इनकम है।
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चौकीदार की ड्यूटी
चौकीदार की ड्यूटी की बात की जाए तो अलग-अलग जगहों में उसकी ड्यूटी अलग-अलग होती है कुछ जगहों पर चौकीदार की ड्यूटी 8 घंटे होती है तो वहीं कुछ जगहों में उसकी ड्यूटी 12 घंटे तक हो सकती है।
चौकीदार की ड्यूटी जितने घंटे होती है उसके हिसाब से उसको वेतन भी दिया जाता है यदि उसकी ड्यूटी 8 घंटे होती है तो उसको कम वेतन दिया जाता है।
वही जल्दी एक चौकीदार की ड्यूटी 10 घंटे से लेकर 12 घंटे तक होती है तो उसकी सैलरी भी ज्यादा दिया जाता है और ड्यूटी के अनुसार भी बहुत सारे चौकीदारों की सैलरी दी जाती है।
आपको बता दें कि एक चौकीदार की ड्यूटी जोखिम भरा होता है हमेशा उसके ऊपर जोखिम लगा ही रहता है लेकिन यह कभी-कभी उस पर होता है ऐसे तो हमेशा एक चौकीदार बैठकर ही अपना समय गुजारते हैं।
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चौकीदार की तनखा कितनी बड़ी है?
चौकीदार का बात किया जाए तो प्रत्येक राज्य में चौकीदार की सैलरी अलग-अलग होती है चौकीदार का वेतन देखा जाए तो अनुपातिक तौर पर लगभग ₹15000 से ₹50000 तक होती है।
कुछ राज्यों में चौकीदार का वेतन ₹10000 से ₹40000 तक होती है तो कुछ शहरों में ₹20000 से ₹60000 तक होती है।
चौकीदार का वेतन उस शहर या राज्य पर निर्भर करती है कि उस शहर में कितना उसे वेतन दिया जाता है कुछ शहरों में कम वेतन रहता है तो कुछ शहरों में अधिक वेतन रहता है यह उस शहर के पापुलेशन पर भी निर्भर करता है।
चौकीदार सरकारी और प्राइवेट दोनों जगहों पर हो सकते हैं आजकल सरकारी चौकीदार बहुत कम रहता है लेकिन प्राइवेट में चौकीदार की नौकरी बहुत अधिक होती हैं।
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चौकीदार का काम क्या होता है?
चौकीदार के काम के बारे में बात किया जाए तो चौकीदार का काम सुरक्षा करना होता है। चौकीदार का यह भी काम होता है कि वह शहर में हो रहे अपराध पर नजर रखें और उसकी खबर पुलिस तक पहुंचाएं।
चौकीदार को और भी कई सारे काम दिए जाते हैं जैसे रात में वैसे एरिया में पहरा देना होता है जहां पर चोरीया डकैती की शंका होती है।
हर किसी भी तरह का शक होने पर चौकीदार डायरेक्ट पुलिस को खबर करती है और कुछ ही समय में पुलिस उस एरिया को घेर लेती है और अपराध होने से बचा लेती हैं।
इसके अलावा भी चौकीदार का बहुत सारा काम होता है जैसे देखरेख करना छोटे-मोटे समस्याओं का समाधान करना इत्यादि तो सारे कार्यों को एक चौकीदार करता है।
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रात का चौकीदार क्या करता है?
रात का चौकीदार किसी मोहल्ला या किसी घर का चौकीदारी करता है अर्थात सुरक्षा प्रदान करता है ताकि किसी प्रकार की वहां पर कोई समस्या ना आ जाए।
इसके साथ ही किसी जगह पर यदि पहले से चोरी और डकैती की शक रहती है तो वहां पर चौकीदार को पहले ही भेज दिया जाता है और वह वहां की जगह को सुरक्षा देती है।
चौकीदार का मतलब सिक्योरिटी गार्ड होता है सिक्योरिटी गार्ड का जो काम होता है उसे ही चौकीदारी कहा जाता है और किसी भी भवन या मोहल्ला का सिक्योरिटी देना सिक्योरिटी गार्ड का काम होता है।
रात का चौकीदार तभी सुरक्षा प्रदान करते हैं जब किसी घर या मोहल्ले में किसी प्रकार का शक हो जाए कि वहां पर चोरी या डकैती होने की संभावना हो सकती है।
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चौकीदार को इंग्लिश में क्या बोला जाता है?
चौकीदार को इंग्लिश में गार्ड (guard) तथा वॉचमैन (watchman) कहा जाता है।
बहुत सारे लोगों को चौकीदार का इंग्लिश नहीं पता होता है अधिकतर ग्रामीण इलाकों में एक सरकारी चौकीदार हुआ करते हैं जो उनकी देखरेख करते हैं तथा उनके खबर को थाने पहुंचाते हैं।
लेकिन आज हम आपको बता दें कि चौकीदार का मतलब सिक्योरिटी गार्ड होता है जिसको हिंदी में चौकीदार कहा जाता है और इंग्लिश में वॉचमैन भी कहा जाता है।
चौकीदार सरकारी और प्राइवेट दोनों तरह के हो सकते हैं किसी भी प्रकार की सिक्योरिटी गार्ड को चौकीदार ही कहा जाता है और सिक्योरिटी गार्ड को कोई भी रख सकते हैं वेतन के तौर पर।
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चौकीदार की स्थापना कब हुई थी?
आपको बता दें कि भारतीय पुलिस की स्थापना 1861 में हुई थी और चौकीदार की भी स्थापना उसी समय हुई थी क्योंकि भारतीय पुलिस मैं ही चौकीदार को शामिल किया गया है।
चौकीदार भी एक प्रकार का पुलिस ऑफिसर ही होता है और पुलिस की स्थापना जब हुई थी यह जाहिर सी बात है कि चौकीदार की भी स्थापना उसी समय हुई होगी।
1861 के एक्ट के अनुसार जिलाधीश को जनपद के अपराध संबंधी शासन का प्रमुख और उस रूप में जनपदीय पुलिस के कार्यों का निर्देशक माना गया था।
भारतीय पुलिस से चौकीदार को अलग कर दिया गया है चौकीदार का सैलरी पुलिस के सैलरी से अलग होती है क्योंकि पुलिस का ड्यूटी बहुत ही ज्यादा जोखिम भरा होता है और उसकी डेट भी रेगुलर ड्यूटी होती है।
एक चौकीदार की ड्यूटी जोखिम भरा तो होता है लेकिन पुलिस वाले की ड्यूटी से बहुत कम क्योंकि पुलिसवाले के ऊपर पूरा शहर का जिम्मा रहता है।
शहर में किसी भी प्रकार की दंगा फसाद होती है तो उसमें पुलिस वाले ही जिम्मेदार होते हैं और उसे पुलिस वाले ही कंट्रोल में लाते हैं इसलिए पुलिस वाले की ड्यूटी काफी हार्ड भी ड्यूटी मानी जाती है।
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चौकीदार कितने समय तक रहता है?
चौकीदार की ड्यूटी की बात की जाए तो इसके ड्यूटी 8 घंटे ही होती है लेकिन इसे हमेशा ऑन ड्यूटी ही रहना पड़ता है।
चौकीदार की ड्यूटी और पुलिस वाले की ड्यूटी में कोई फर्क नहीं होता है जो सरकारी चौकीदार है उसकी ड्यूटी पुलिस वाले ड्यूटी की तरह होती है।
लेकिन यदि प्राइवेट चौकीदार है तो उसकी ड्यूटी लगभग 8 घंटे से 12 घंटे तक हो सकती है क्योंकि प्राइवेट सेक्टर में बहुत ज्यादा समय लिया जाता है ड्यूटी का।
कुछ कुछ जगहों पर एक चौकीदार की ड्यूटी बहुत कम होती है लेकिन कुछ कुछ जगहों पर चौकीदार की ड्यूटी 12 घंटे तक होती है।
यदि आप एक चौकीदार बनाना चाहते हैं तो अब ऐसे जगह को छूने जहां पर आप की ड्यूटी कम हो अर्थात जहां पर 8 घंटे की ड्यूटी हो।
यदि 12 घंटे की ड्यूटी आपने चुना तो आपके लिए थोड़ी कठिनाई हो सकती है क्योंकि 12 घंटे की ड्यूटी बहुत ही हार्ड ड्यूटी मानी जाती है और इस ड्यूटी को करना हर किसी के बस की बात नहीं होती है।
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एक गांव चौकीदार का क्या कर्तव्य है?
एक गांव का चौकीदार का यह कर्तव्य होता है कि वह अपने क्षेत्र को देखरेख करें और अपने क्षेत्र की निगरानी करें कि उसके क्षेत्र में कहीं अपराधिक मामला तो नहीं बढ़ रहा है।
इसके अलावा वह अपने इलाके में अपराध तथा अपराधियों पर भी नजर रखता है यह एक चौकीदार को मालूम रहता है कि उसके इलाके में कौन-कौन अपराध ही है क्योंकि उसे थाने से सभी प्रकार की रिपोर्ट मिलती रहती है।
चौकीदार का यह भी काम रहता है कि वह किसी भी प्रकार के अपराधियों का लिस्ट थाने को दें और प्राथमिकता दर्ज कराएं।
इसके अलावा चौकीदार का काम और भी बहुत सारे होता है अपराध और अपराधी को रोकने के लिए भी एक चौकीदार को आगे आना होता है और शहर को सुचारू रूप से चलाने के लिए चौकीदार हमेशा निरंतर प्रयास करते हैं।
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CONCLUSION :-
आज के इस लेख के माध्यम से हमने जाना कि चौकीदार का वेतन कितना है (chowkidar ka vetan kitna hai) क्या-क्या है और साथ ही लोगों द्वारा पूछे गए कुछ सवालों के जवाब भी जाना।
हमको उम्मीद है कि आज का यह लेख “चौकीदार का वेतन कितना है (chowkidar ka vetan kitna hai)” आपको काफी अच्छा लगा होगा।
चौकीदार के सैलरी से संबंधित सभी प्रकार के सवालों का जवाब आज हम इस लेख के माध्यम से समझ गए हैं।
इसके अलावा भी आपके मन में किसी प्रकार का सवाल है तो आप कमेंट कर सकते हैं आपके सवालों का जवाब जल्द से जल्द दिया जायेगा।
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